मेरे नाती ओम जी ने भगवान राम पर एक रचना की है जिसमें मैने केवल मात्रा में संशोधन किया है। इस बालक को आशीर्वाद दे कर इसे आप महानुभाव प्रोत्साहित करें। रचना प्रस्तुत है:—
राम हमारे आप पिता हैं,
हम तो आपके बच्चे हैं ।
सारे जग के आप पिता हैं,
माता सबकी सीता हैं ।
सबके दिल में रहते आप,
माता सीता रहती साथ ।
हनूमान के दिल में रहते,
सीना चीर दिखाया है ।
तेरे हीं चरणों में हनुमत,
सदा निवास पाया है ।
ओ माँ सीता ओ मेरे राम,
जय जय राम जय सियाराम ।
रक्षा करो हमारी आप,
भूल हुई तो करना माफ ।
रचनाकार
ओम
(नाती ब्रह्मेश्वर नाथ मिश्र)